गुरु पूर्णिमा के पावन अवसर पर आदरणीय गुरुजनों को सादर नमन..!!!
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"रज चरणों की..
भक्ति गुणों की..
सरलता ह्रदय की..
तरलता विषयों की..
सार जीवन का..
भेद आत्मा का..
त्याग विकारों का..
ज्ञान शैली का..
लौ से बहती गंगा..
मोती माणक मनका..
चरित्र निर्माण विशाला..
'गुरु' पद संवारा..
कृतज्ञ हूँ..
गुरुवर..
पा तुमको..
निर्मल बन जाऊं..
कृपादृष्टि..
रखना सदैव..
'तुच्छ' पिपासु का..
कोटि-कोटि प्रणाम..!!!"
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4 ...Kindly express ur views here/विचार प्रकट करिए..:
guru parv ki hardik shubhkamnayen .prastut rachna bahut sarahniy hai .aabhar
बहुत ही सुंदर भाव,
विवेक जैन vivj2000.blogspot.com
धन्यवाद शिखा कौशिक जी..!!
धन्यवाद विवेक जैन जी..!!
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