Wednesday, September 1, 2010

'तराजू ..'


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"मौत सज़ा बैठा था..
आँगन में जिसकी..
बिकता मिला..
हर तराजू में वो..
क्यूँ भरता नहीं..
लोभ का घड़ा..!
और..
व्यसनों का कुंड..!!"

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