Wednesday, September 28, 2011

'यादों की गली..'



...


"सौंधी खुशबू उड़ाती..
ख्वाब जन्नत बनाती..
गुलाबी बारिश सजाती..

यादों की गली भी ना..
बारहां..
तन्हा ही होती है..!!"


...

8 ...Kindly express ur views here/विचार प्रकट करिए..:

संजय भास्‍कर said...

गजब कि पंक्तियाँ हैं ...

priyankaabhilaashi said...

धन्यवाद संजय भास्कर जी..!!

Nidhi said...

यादों का सफर तनहा ही अच्छा होता है

विभूति" said...

यादो से सरोबर पंक्तिया.....

Udan Tashtari said...

उम्दा रचना..

priyankaabhilaashi said...

धन्यवाद दी..!!

priyankaabhilaashi said...

धन्यवाद दिलबाग विर्क जी..!!

priyankaabhilaashi said...

धन्यवाद उड़न तश्तरी जी..!!